चलो प्यार हम करते हैं
दुनिया से किया निरंतर
अपने से एक बार करतें हैं चलो.....
हर चीज जो प्यारा है
आंखों का है वो बंधन
अन्दर जो छुपा बैठा
उस से इकरार करते हैं चलो...
जो हो तुम ,वो भी है ही
जो वो नही तो तुम क्या
जो साथ है हमेशा
उस से इजहार करते हैं चलो...
जब तक थे तुम अकेले
तुम थे नही वही था
उस अजनबी को जाके
स्वीकार हम करतें हैं चलो...
चश्मा जो चिल्लाये की आँखों को मैं देखूंगा
ऐसा कहाँ कोई चश्मा व्यव्हार हम करते हैं चलो....
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